➡️अमरनाथ यात्रा पर जाना है तो रोज 5 किमी पैदल चलने की आदत डालें
➡️खाने में रोटी-चावल घटाएं और फल-सलाद को दें प्राथमिकता

समाचार विचार/बेगूसराय: वर्षों से बाबा बर्फानी के दर्शन की हसरत पाल रखे अमरनाथ यात्रियों में काफी उत्साह देखा जा रहा है। लेकिन घर परिवार से दूर लंबी और दूभर कर देने वाली इस यात्रा पर जाने से पहले एहतियात बरतना भी जरूरी है, नहीं तो स्वास्थ्य संबंधी परेशानियां उत्पन्न हो सकती है। बहुत कम समय में बेगूसराय में चिकित्सा के क्षेत्र में उत्कृष्ट पहचान बनाने वाले डीएम कार्डियोलॉजिस्ट और आनंदी हार्ट केयर एंड मैटरनिटी हॉस्पिटल के निदेशक डॉ. रजनीश कुमार ने अमरनाथ यात्रा पर जाने वाले श्रद्धालुओं को जीवनोपयोगी टिप्स देते हुए बताया कि जो लोग अमरनाथ यात्रा पर जाने वाले हैं, वे अभी से ही रेगुलर वाक शुरू कर दें। रोज कम से कम 5 किमी पैदल चलने की आदत डालें। 50 साल से अधिक आयु के लोग धीरे-धीरे चलें। जो कम उम्र के हैं, वे हल्की दौड़ भी जरूर लगाएं। इससे उनकी श्वास लेने की क्षमता बढ़ेगी।
अमरनाथ यात्रा पर जाना है तो रोज 5 किमी पैदल चलने की आदत डालें
डॉ. रजनीश ने समाचार विचार को बताया कि यात्रियों को अभी से ही तैयारी शुरू कर देनी चाहिए। विदित हो कि यह यात्रा 3 जुलाई से शुरू होकर 9 अगस्त तक चलेगी। उन्होंने बताया कि श्रद्धालु कम से कम दो किलोमीटर धीरे चलें- फिर अपनी रफ्तार बढ़ाएं। उन्होंने बताया कि प्रत्येक व्यक्ति को अपनी शारीरिक क्षमताओं के बारे में पता होता है। अमरनाथ यात्रा पर जा रहे लोग स्वयं तय करें कि उन्हें वहां कितना रोज चलना है। उन्हें कम से कम पांच या छह किमी रोज पैदल ऊंचे-नीचे दुर्गम रास्तों पर चलना है। कम से कम दो किमी रोज धीरे-धीरे चले, इसके बाद चलने की स्पीड रोज बढ़ाएं और फिर पांच किमी तक चलने का अभ्यास करें। इससे यात्रा के दौरान सांस लेने में दिक्कत नहीं होगी।
खाने में रोटी-चावल घटाएं और फल-सलाद को दें प्राथमिकता
डॉ.रजनीश ने बताया कि यात्रा पर जाने वालों को अनुलोम-विलोम जरूर सीखना चाहिए। इसके अभ्यास से फेफड़ों को बल मिलता है और हृदय भी मजबूत होता है। शरीर में इसके करने से शुद्ध आक्सीजन की आपूर्ति बढ़ती है। यात्रा पर जाने वाले लोग अभी से रोटी-चावल की मात्रा में कमी कर उसके बदले सलाद, फल व ड्रायफूड शुरू करें। चाय-काफी की मात्रा भी घटाने के साथ पानी अधिक पीना शुरू कर दें। एनर्जी बनी रहेगी। साथ ही उन्होंने यह भी बताया कि अगर किन्हीं को चलने के दौरान सांस फूलने, छाती में जकड़न या अन्य कोई समस्या हो तो वे यथाशीघ्र ईसीजी और इको कार्डियोग्राफी करा लें ताकि यात्रा पर जाने से पूर्व उनका स्वास्थ्य सबल हो सके। यहां यह बताना लाजिमी है कि डॉ. रजनीश कुमार ने बेगूसराय और आस पास के जिले के जटिल हृदय रोग से संबंधित कई मरीजों को जीवनदान दिया है। बेगूसराय में उनके कुशल निर्देशन में आनंदी हार्ट एंड मैटरनिटी हॉस्पिटल एनएच 31 पर ज्ञान भारती स्कूल के ठीक विपरीत पिलर संख्या 51-52 के निकट संचालित है, जहां हृदय रोग से संबंधित हर तरह की चिकित्सकीय सुविधा सुलभ है। उनके क्लीनिक में आयुष्मान कार्ड के तहत भी जटिल से जटिल व्याधियों का सफल उपचार किया जाता है।
Begusarai Locals
🎯बाबा परशुराम के जन्मोत्सव पर निकली भव्य और ऐतिहासिक शोभायात्रा
🎯आक्रोशित है हिंदुस्तान: बेगूसराय में पैगाम-ए-अमन के कार्यकर्ताओं ने निकाला कैंडल मार्च
To Join Our WhatsApp Channel Click Here

Author: समाचार विचार
Post Views: 2,251